caneup खुशखबरी : गन्ने का समर्थन मूल्य बढ़ाने का ऐलान, 45 लाख किसानों को मिलेगा लाभ Profit

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जानें, क्या होगी सरकार की योजना और इससे कैसे मिलेगा किसानों को लाभ

caneup: गन्ना उगाने वाले किसानों के लिए एक अच्छी खबर है. राज्य सरकार को गन्ना पेराई के इस सत्र से पहले गन्ने की कीमत बढ़ाने का अधिकार है। सरकार से सहमति मिलने के बाद गन्ने का दाम बढ़ाने की कोशिश की जा रही है | अनोखा पहलू यह है कि विधानसभा चुनाव नजदीक आते ही सभी राजनीतिक दल मतदाताओं को अपने पक्ष में करने के लिए सक्रियता से काम कर रहे हैं। कुछ स्थानों पर मुफ्त मोबाइल फोन वितरित किए जाते हैं जबकि अन्य स्थानों पर घर बनाने के लिए वित्तीय सहायता प्रदान की जाती है। इसको लेकर सरकार ने हाल ही में किसानों को खुश करना शुरू कर दिया है. गन्ना किसानों की मदद के लिए गन्ना मूल्य में बढ़ोतरी के अनुरोध को सीएम ने मंजूरी दे दी है, क्योंकि सरकार किसी भी हालत में किसानों को नाराज नहीं करना चाहती है. अनुमान है कि राज्य सरकार दुर्गा पूजा या दिवाली से पहले किसानों के लिए नए गन्ना मूल्य की घोषणा करेगी। सूत्रों का दावा है कि राज्य प्रशासन गन्ने की कीमत बढ़ाने के लिए तैयार है और जल्द ही इसमें बढ़ोतरी हो सकती है. अगर ऐसा हुआ तो राज्य के 45 लाख किसानों को इसका सीधा फायदा होगा |

caneup प्रदेश में है सबसे अधिक गन्ना किसान लेकिन गन्ने का मूल्य सबसे कम

caneup: देश में अधिकांश गन्ना किसान उत्तर प्रदेश में स्थित हैं, और यह क्षेत्र एक बड़े कार्यबल को रोजगार देता है। इस स्थिति में, यूपी में कुल मिलाकर सबसे अधिक गन्ना उत्पादक हैं, लेकिन इन किसानों को अभी भी अन्य राज्यों के किसानों की तुलना में सबसे कम गन्ने की कीमतें मिलती हैं। परिणामस्वरूप, किसान संगठनों ने अपना असंतोष व्यक्त किया और सरकार से गन्ने की कीमत बढ़ाने के लिए कहा, एक अनुरोध जिसे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अब स्वीकार कर लिया है। तब से, गन्ना उत्पादकों के हित को ध्यान में रखते हुए, राज्य सरकार ने गन्ने की कीमत बढ़ाने की पहल शुरू कर दी है। इस दिशा में काम जारी है. अगर सब कुछ योजना के मुताबिक रहा तो राज्य प्रशासन दुर्गा पूजा या दिवाली से पहले गन्ने की कीमतों में बढ़ोतरी की घोषणा कर सकता है।

गन्ने की कीमतों में कितनी वृद्धि का अनुमान है caneup?

भारतीय किसान यूनियन के मुताबिक, यूपी सरकार ने पिछले साल भी गन्ने का रेट नहीं बढ़ाया, जिसका असर राज्य की मौजूदा कीमत पर पड़ा। बढ़ती महंगाई और गन्ने की खेती की लागत बढ़ने से किसान चिंतित हैं। राज्य सरकार को किसानों के हितों को ध्यान में रखते हुए गन्ना पेराई सत्र 2023-2024 के लिए गन्ने का मूल्य कम से कम 450 रुपये प्रति क्विंटल घोषित करना चाहिए। भारतीय किसान यूनियन के एक प्रतिनिधिमंडल ने हाल ही में राज्य के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से बात की। इस दौरान प्रतिनिधिमंडल ने सीएम को गन्ने की कीमत में बढ़ोतरी की मांग करते हुए 11 सूत्रीय मांग पत्र सौंपा, जिसे सीएम योगी ने स्वीकार कर लिया | अनुमान के मुताबिक गन्ने का समर्थन मूल्य 30 से 35 रुपये तक बढ़ सकता है. आपको बता दें कि यूपी में गन्ने का मौजूदा समर्थन मूल्य (जिसे एसएपी भी कहा जाता है) 350 रुपये प्रति क्विंटल है. यहां गन्ने की कीमत 30 या 35 रुपये बढ़ने पर 380-385 रुपये प्रति क्विंटल तक पहुंच सकती है|

caneup गन्ने की बढ़ती कीमत से कितने किसानों को फायदा होगा ?

caneup: यूपी सरकार द्वारा गन्ना मूल्य वृद्धि से 45 लाख किसानों को सीधा लाभ होगा। आपको बता दें कि राज्य के किसान 45 लाख से ज्यादा संख्या में गन्ना पैदा करते हैं| भारत में गन्ने की खेती और चीनी का उत्पादन करने वाली अधिकांश चीनी मिलें उत्तर प्रदेश में स्थित हैं, जहाँ अधिकांश गन्ना उगाया जाता है।

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गन्ने के बकाया भुगतान को लेकर क्या मांग की गई है caneup ?

किसान संगठन ने सरकार से उत्तर प्रदेश के बकाया गन्ना मूल्य का तुरंत भुगतान करने की भी मांग की है. उनके मुताबिक 14 दिन के अंदर भुगतान न मिलने पर तत्काल गन्ना मूल्य का भुगतान कराया जाए। तथापि, 14 दिन के अन्दर भुगतान प्राप्त न होने पर गन्ना मूल्य भुगतान एवं विलम्बित भुगतान पर कमीशन हेतु उत्तर प्रदेश गन्ना (पूर्ति एवं खरीद विनियमन) अधिनियम 1953 एवं तत्संबंधी नियमावली 1954 के प्रावधानों के अनुसार ब्याज लिया जाये। जिसका वादा चुनावी घोषणा में किया गया है. पत्र में पूरा किया गया था | कथित तौर पर चीनी मिलों पर गन्ना किसानों का 5,000 करोड़ रुपये से अधिक का बकाया है। इसमें पहले से ही बकाया ब्याज है |

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